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एचआईवी संक्रमण के लक्षण क्या हैं?

एचआईवी (HIV) यानी ह्यूमन इम्यूनोडेफिशिएंसी वायरस एक ऐसा वायरस है जो शरीर के इम्यून सिस्टम (प्रतिरक्षा प्रणाली) पर हमला करता है। समय के साथ, यह वायरस इम्यून सिस्टम को कमजोर करता है, जिससे शरीर बीमारियों से लड़ने में असमर्थ हो जाता है। शुरुआती अवस्था में, एचआईवी के लक्षण बहुत सामान्य और फ्लू (सामान्य सर्दी-जुकाम) जैसे हो सकते हैं, जिसकी वजह से अक्सर लोग इन्हें पहचान नहीं पाते।

एचआईवी संक्रमण के शुरुआती लक्षण (एक्यूट एचआईवी)

संक्रमण के कुछ हफ्तों के भीतर (आमतौर पर 2 से 4 सप्ताह), कुछ लोगों में फ्लू जैसे लक्षण दिखाई देते हैं। इन लक्षणों को “एक्यूट रेट्रोवायरल सिंड्रोम” (Acute Retroviral Syndrome) या प्राथमिक एचआईवी संक्रमण कहा जाता है। ये लक्षण कुछ दिनों से लेकर कुछ हफ्तों तक रह सकते हैं और फिर गायब हो जाते हैं। इन लक्षणों में शामिल हैं:

  1. बुखार: यह सबसे आम शुरुआती लक्षणों में से एक है।
  2. थकान: बिना किसी कारण के अत्यधिक थकान महसूस होना।
  3. गले में खराश और दर्द: निगलने में कठिनाई के साथ गले में खराश।
  4. मांसपेशियों और जोड़ों में दर्द: शरीर में अकड़न और दर्द महसूस होना।
  5. सिरदर्द: लगातार या बार-बार होने वाला सिरदर्द।
  6. त्वचा पर लाल चकत्ते (रैश): आमतौर पर ये चकत्ते छाती, चेहरे, या हाथों पर दिख सकते हैं।
  7. सूजी हुई लिम्फ नोड्स (लसिका ग्रंथियां): गर्दन, बगल और कमर में गांठें महसूस हो सकती हैं। ये लिम्फ नोड्स वायरस से लड़ने की कोशिश में सूज जाते हैं।
  8. रात में पसीना आना: सोते समय अत्यधिक पसीना आना।
  9. मुंह के छाले या ओरल थ्रश: मुंह में सफेद धब्बे या छाले होना।

लक्षणों का दूसरा चरण (क्लिनिकल लेटेंसी स्टेज)

शुरुआती लक्षण गायब होने के बाद, व्यक्ति कई सालों तक बिना किसी लक्षण के रह सकता है। इस चरण को “क्लिनिकल लेटेंसी स्टेज” (Clinical Latency Stage) या बिना लक्षण वाली अवस्था कहते हैं। इस दौरान वायरस शरीर में मौजूद रहता है और धीरे-धीरे इम्यून सिस्टम को कमजोर करता रहता है। इस अवस्था में, व्यक्ति को एचआईवी का कोई लक्षण महसूस नहीं होता, लेकिन वह फिर भी वायरस को दूसरों तक फैला सकता है।

उन्नत एचआईवी संक्रमण (एड्स) के लक्षण

जब एचआईवी का इलाज नहीं किया जाता है और यह इम्यून सिस्टम को बहुत ज्यादा कमजोर कर देता है, तो यह एड्स (एक्वायर्ड इम्यून डेफिशिएंसी सिंड्रोम) में बदल सकता है। एड्स के लक्षण इम्यून सिस्टम के बहुत कमजोर होने का संकेत देते हैं, जिससे शरीर कई तरह के संक्रमणों और बीमारियों का शिकार हो जाता है। इन लक्षणों में शामिल हैं:

  1. वजन का घटना: बिना किसी कारण के तेजी से वजन कम होना।
  2. बार-बार बुखार और रात में पसीना आना।
  3. लंबे समय तक दस्त रहना।
  4. गंभीर थकान।
  5. निमोनिया या टीबी जैसे गंभीर संक्रमण।
  6. त्वचा पर गहरे, लाल या भूरे धब्बे।
  7. मुंह, गले या योनि में फंगल संक्रमण (कैंडिडिआसिस)।
  8. याददाश्त का कमजोर होना और तंत्रिका संबंधी समस्याएं।

यदि आपको लगता है कि आपमें एचआईवी संक्रमण के लक्षण हैं या आपने जोखिम भरा व्यवहार किया है, तो तुरंत डॉक्टर से सलाह लें और जांच कराएं। शुरुआती पहचान और उपचार से एचआईवी को एड्स में बदलने से रोका जा सकता है और व्यक्ति एक सामान्य जीवन जी सकता है।

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